Wednesday 22 August 2012
Monday 20 August 2012
पंजाबी अभिनेता ने सलमान को मारे 25 घूंसे!
मुंबई। बॉलीवुड में नए अभिनेताओं को बहुत कम ऐसा करने को मिलता है, जो पंजाबी अभिनेता गैवी चहल को पहली ही फिल्म एक था टाइगर में मिल गया। फिल्म के एक दृश्य के लिए उन्होंने सलमान खान को 25 बार घूंसे मारे। अब वह सलमान को अपनी मदद तथा शूटिंग के दौरान संयम बरतने के लिए शुक्रिया अदा कर रहे हैं।
चहल ने कहा, फिल्म के एक दृश्य में मुझे उनकी पसलियों में घूंसे मारना था। मैं संकोच कर रहा था, लेकिन उन्होंने मुझे प्रेरित किया और अभ्यास करके बताया। टेक पूरा होने से पहले कम से कम 25 घूंसे मैंने उन्हें मारे। वह बहुत सहयोगात्मक हैं। उन्होंने मुझे भविष्य को लेकर कई सीख दी। उनके साथ काम करके मैं बहुत खुश हूं।
चहल पहले कई पंजाबी फिल्मों और टेलीविजन धारावाहिकों में काम कर चुके हैं। एक था टाइगर से वह बॉलीवुड में कदम रखने जा रहे हैं।
मोबाइल पर ज्यादा गुफ्तगू खतरनाक
मेरठ। मोबाइल तरंगों के दुष्चक्र में फंसकर जीवन असाध्य बीमारियों की ओर मुखातिब है। इलेक्ट्रोमैग्नेटिक तरंगों से पर्यावरण आहत है। जीव जंतुओं की जेनेटिक बदल रही है। मेरठ की आरटीआइ से खुलासा हुआ कि खतरे से लबरेज ये तरंगे मनुष्य में पर्किसन जैसी बीमारी भी पैदा कर सकती हैं। बच्चों एवं किशोरों में ब्रेन कैंसर की संभावनाएं चार गुना ज्यादा दर्ज हुई हैं। मस्तिष्क में न्यूरोन्स खत्म होने से पार्किंसन व डिमेंसिया की बीमारी हो सकती है। डीएनए डैमेज का भी खतरा है।
20 मिनट से अधिक बात खतरा
पर्यावरण मंत्रालय ने डा. असद रहमानी के नेतृत्व में तरंगों पर शोध करने के लिए टीम गठित की। पता चला कि 20 मिनट तक बातचीत करने पर कान की ग्रंथियों का तापमान एक डिग्री सेल्सियस बढ़ जाता है। सेल टावर से 50 से 300 मीटर तक के दायरे में ज्यादा मारक प्रभाव दर्ज किए गए। आबादी पर तरंगों का भारी लोड भारत में टावरों से 9 वाट प्रति मीटर वर्ग की ताकत से इलेक्ट्रोमैग्नेटिक तरंगों का उत्सर्जन हो रहा है, जबकि रूस, बुल्गारिया, हंगरी में 0.02 वाट प्रति मीटर, इटली, इजरायल में 0.1 वाट, चीन में 0.4 वाट प्रति मीटर वर्ग है, जो स्वास्थ्य के लिए अपेक्षाकृत कम खतरनाक है।
भारत के दूरसंचार मंत्रालय ने सितंबर माह तक उत्सर्जन की क्षमता 0.9 वाट प्रति मीटर वर्ग सीमित रखने के लिए कहा है। ये कहते हैं वैज्ञानिक चौ. चरण सिंह विवि के पर्यावरण वैज्ञानिक डॉ. एसके यादव ने कहा कि इलेक्ट्रोमैग्नेटिक तरंगों से हृदय रोग, ब्रेन कैंसर, मानसिक अवसाद एवं पार्किंसन व हार्मोनल डिसआर्डर तक हो सकता है। पैंट के जेब में रखने से नपुंसकता भी हो सकती है। वहीं, पर्यावरण मंत्रालय की डीआइजी प्रकृति श्रीवास्तव ने बताया कि पर्यावरण पर तरंगों के घातक प्रभावों की पूरी रिपोर्ट केंद्र को सौंपी गई है, जिसमें रेडिएशन की ताकत 0.9 वाट प्रति मीटर वर्ग से कम रखने की सिफारिश की गई है।
सिपाही ने किया छात्रा से दुष्कर्म, गिरफ्तार
नई दिल्ली, जागरण संवाददाता। पुल प्रहलादपुर में दिल्ली पुलिस के सिपाही द्वारा 16 वर्षीय किशोरी से दुष्कर्म करने का मामला सामने आया है। किशोरी की शिकायत पर पुल प्रहलादपुर थाना पुलिस ने सिपाही के खिलाफ मामला दर्ज कर उसे गिरफ्तार कर लिया है। आरोपी सिपाही का नाम इंसाफ खान है। एडिशनल पुलिस कमिश्नर, दक्षिण-पूर्वी जिला अजय चौधरी ने सिपाही को निलंबित कर दिया है। उसके खिलाफ विभागीय जाच भी शुरू कर दी गई है।
पुलिस अधिकारी के मुताबिक इंसाफ खान मूलरूप से बिहार का रहने वाला है। पुल प्रहलादपुर में वह किराये पर घर लेकर रहता है। उसकी तैनाती जामिया नगर थाने में थी। बताया जाता है कि पीड़ित 16 वर्षीय किशोरी को सिपाही जानता था। दोनों में बातचीत होती थी। किशोरी पुल प्रहलादपुर में परिवार के साथ रहती है। वह पास के स्कूल में आठवीं कक्षा में पढ़ती है। शुक्रवार को सिपाही ने किशोरी को फोन कर बाजार में बुलाया था। किशोरी जब वहा आई तो वह उसे बहलाफुसला कर अपने एक दोस्त के फ्लैट पर लेकर चला गया। वहा सिपाही ने किशोरी के साथ दुष्कर्म किया। दुष्कर्म के बाद किशोरी अपने घर चली आई। उसने मा को आपबीती बताई। परिजन किशोरी को लेकर थाने गए और सिपाही के खिलाफ शिकायत दर्ज करवा दी। मेडिकल में दुष्कर्म की पुष्टि होने के बाद पुलिस ने मामला दर्ज कर लिया और कुछ ही घटे के अंदर आरोपी सिपाही को जामिया नगर थाने से गिरफ्तार कर लिया गया।
दलितों को खेतों में घुसने से रोका
पटियाला, जागरण संवाददाता। पंजाब के पटियाला जिले के गाव सदरपुर में जमींदार द्वारा दलितों को खेतों में जाने से रोके जाने का मामला प्रकाश में आया है। दरअसल, मोबाइल फोन से कॉल करने को लेकर गांव के जमींदारों व दलितों के लड़कों में कुछ दिनों पहले झगड़ा हो गया था। इसके बाद जमींदारों ने दलित परिवारों का बहिष्कार कर दिया।
दोनों गुटों में उपजी तकरार को मिटाने के लिए दोनों तरफ से भरपूर प्रयास किए जा रहे हैं, लेकिन ये कोशिशें अभी किसी नतीजे तक नहीं पहुंच पाईं हैं। दलितों को खेतों में भी नहीं जाने दिया जा रहा है। करीब एक महीने पहले पड़ोसी जिले संगरूर में भी जमींदारों ने दलितों का बहिष्कार कर दिया था।
रविवार को भी इन दोनों वर्गो के सदस्यों को आमने-सामने बिठा कर समझाने का प्रयास किया गया। जमींदारों के बहिष्कार के चलते दलितों को रोजाना की जरूरत की वस्तुओं के लिए गाव से पांच किलोमीटर दूर जाना पड़ रहा है। खाने-पीने की चीजें व दूध तक उन्हें दूसरे गाव से लाने पड़ रहे हैं। उनका कहना है कि मवेशियों के लिए घास काटने से लेकर खेतों में प्रवेश करने की मनाही के चलते वे गांव से पूरी तरह कटे हुए हैं।
दूसरी ओर, जमींदारों का कहना है कि यह झगड़ा मामूली बात को लेकर हुआ है। वे इस मामले को आपस में मिल-बैठकर हल करने का प्रयास कर रहे हैं। एसडीएम गुरुपाल सिंह चहल ने बताया कि उन्होंने क्षेत्र के थाना प्रभारी को दोनों पक्षों में समझौता कराने के लिए भेजा है।
मंदिर में प्रवेश पर महादलित को पीटा
नवादा। बिहार के नवादा जिला अंतर्गत फतेहपुर गांव में मंदिर में प्रवेश पर महादलित की पिटाई का मामला प्रकाश में आया है। घटना गुरुवार शाम की है। मंदिर में प्रवेश के बाद गांव के ऊंची जाति के लोगों ने घर में घुस महादलित विजय राजवंशी की बेरहमी से पिटाई की। हमलावरों ने घर में रखा नकदी समेत करीब 10 हजार रुपये मूल्य के जेवर लूट ले गए। दोबारा मंदिर में प्रवेश करने पर हत्या की धमकी दी गई। इस बाबत थाने में प्राथमिकी दर्ज करा एक ही परिवार के पांच लोगों को नामजद किया गया है।
Saturday 11 August 2012
Wednesday 8 August 2012
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